दोस्त और भाभी को एक साथ पलंग पर पेला -Hot Bhabhi Sex

मेरे बगल मे एक भाभी रहती थी। देखने मे बिल्कुल शरीफ सीधी साधी लेकिन एक दम पेलने लायक मस्त माल। लेकिन उनका पति अइयाश था। उसका काम ही रंडीबाजी था। मेरी उसके पति से ठीक ठाक जान पहचान थी।

एक दिन उसने मुझे घर डिनर पे बुलाया। उस दिन भाभी ने साड़ी पहनी थी जिसमे उनकी कमर एकदम मादक लग रही थी। उनकी गांड साड़ी मे क्या खूब मटक रही थी। मन कर रहा था गांड को दबा दूँ। कमर पकड़ के भाभी को झुका दूँ और साड़ी उठा के लंड गांड में दाल दूँ।

उनकी बड़ी बड़ी चूँचिया चाह रही थी उनको कस के भींच लूँ और चूँचियो का रस चूस चूस के पीने लगू। भाभी का नाम सोनम था। जब मै भाभी को निहार रहा था उनके पति ने मुझे देख लिया और मुस्कुराया। थोड़ी देर बाद भाभी आके हमारे पास बैठ गयी।

मुझे बिलकुल भी अंदाजा नहीं था कि मुझे हिमांशु भैया ने सोनम भाभी को चोदने के लिए बुलाया था। सोनम भाभी एक मस्त माल थी। बड़ी बड़ी चूँचिया बड़ी टाइट गांड गोरा रंग एक दम मादक बदन था। हिमांशु उसका पति उतना ही हरामी गज़ब चुदकड़ था।

सेक्सी फिगर वाली भाभी की चुदाई – Hot Bhabhi Sex

वो मेरे फ्लैट पे आने जाने वाली हर लड़की पे नज़र रखता था। और उसकी नज़र कनिष्का मेरी ऑफिस कलिग पे थी जो अक्सर मुझ से चुदने आती थी। और उसकी गांड का उभार किसी का भी लंड खड़ा करने के लिए काफी था।

मुझसे जब भी मिलता था एकबार कनिष्का के बारे में जरूर पूछता था। “कैसी है तेरी दोस्त?” उसको मैंने कनिष्का को अपनी दोस्त बताया था।

कनिष्का के बारे में बता दूँ वो एक मस्त चुदासी लड़की है और उसको दारु का खूब शौक है। नशे में वो और चुदकड़ हो जाती है और वाइल्ड भी। उसकी जाँघे मांसल है ,चूँचिया नशीली और लंड चूसने में पीएचडी है उसे। उसकी चुत रसीली है।

उसको चोदने में गज़ब मजा आता है। कनिष्का को चुदना पसंद है और मुझे चोदना। कनिष्का के बारे में आपको इसलिए बता रहा क्यूंकि हिमांशु ने भाभी कि चुत ही कनिष्का की लेने के लिए दिलाई थी।

थोड़ी इधर उधर की बातो के बात हिमांशु मुद्दे पे आ गया। बोला, “सुमेश तू भी गज़ब लड़किया ठोकता है। तेरी गर्लफ्रेंड क्यूट है खूबसूरत है फिर भी उसके साथ साथ औरो को भी बजाता है। तेरी चुदाई के किस्से सोसाइटी की पायल ने सुनाया है कैसे तूने उसका तबला बजा बजा के फाड़ दिया था।”

मैं उसकी इतनी खुली बात से मैं चौक गया। और समझ गया आज सोनम भाभी चुदेगी। मैं बोला, “भईया, ठोकता ही ऐसा हूँ एकबार ठुकाई के बाद चुत को मेरे लौड़े का नशा हो जाता है। और रही बात पायल आंटी की तो वो खुद चल के आयी थी मुझे परखने। मैं खुद चल के आयी चुत का भूत उतरना जानता हूँ।”

हिमांशु बोला, “बातो से तो कोई भी चुदकड़ बन सकता है गुरु। पायल का क्या है वो तो मेरे आगे १० मिनट में हाफ देती है रंडी।”

मैं बोला, “सोनम भाभी को बचा के रखना, भईया।मैं अगर भाभी के ऊपर कभी चढ़ गया तो उस दिन चुत को चौराहा बना दुगा।”

सोनम ये सुन ताव में आ गयी। बोली, “साले लंड निचोड़ दूंगी कही हल्के में ले रहे हो मुझे।”

मैं बोला, “भाभी ,देवर आपका हवा में बाते नहीं करता। जिस दिन चढ़ूगा ऊपर चुत की चटनी बना दुगा।”

हिमांशु बोला, “सुमेश, दिया मौका। बना भाभी को चोद के उसके चुत का भोसडा। लेकिन मुझे भी कनिष्का की चाहिए। साली को जब भी देखता हूँ मन करता है चुत खा जाऊ उसकी, गांड मार मार के उसकी सुजा दूँ। कमाल लगती है यार।”

अब मैं चुदाई के मूड में आ गया और मेरा लौड़ा कुतुबमीनार बना हुआ था। सोनम भाभी को इशारे से बुलाया और वो मेरे पास आ गयी। मैंने उसके पल्लू को हटाया। उसकी ब्लाउज में कसी चूँचिया मेरे सामने थी।

मैंने एकझटके में उसके ब्लाउज को फाड़ दिया और दोनों चूँचियो को हाथो से मसल दिया। और बोला, “लौड़ा चूस रांड, आज तेरा देवर तुझे अपने लौड़े की सवारी कराएगा और तेरी गांड और बुर का भोसड़ा बनाएगा।”

सोनम ने मेरी पेंट खोल जैसे ही मेरा लौड़ा देखा उसकी आँखे चमक गयी। मेरा ८ इंच का मोटा लौड़ा देख के बोली, “बाप रे ये तो मुसल है।” और हिमांशु की तरफ देख के बोली, “कमाल का लंड है सुमेश का।”

हिमांशु भी अब जोश में आ गया और बोला, “रांड तेरी चुत की गर्मी आज हम दोनों बुझाएगे। तुझे बहुत आग लगी है ना। आज तू मेरी बीवी नहीं एक रंडी है और तू आज देखेगी रंडी कैसे चोदता हूँ मैं।”

हिमांशु का लंड भी ठीक था। मुझसे छोटा था लेकिन मोटा काला कड़क था। उसका लंड भी कई चुत का शिकारी है दिख रहा था। हिमांशु ने आके सोनम का मुँह मेरे लंड पे झुका दिया। गांड पे एक जोरदार चाटा मारा और अपना लंड पेल दिया उसकी गांड में।

सोनम के मुँह में मेरा पूरा लौड़ा घुसा था और गांड में हिमांशु का लंड। हमदोनो ने सोनम को किसी रंडी की तरह चोदना स्टार्ट किया। थोड़ी देर अपना लंड चुसवाने के बाद मैंने अपना लंड निकाल के सोनम को पीछे धक्का दिया।

हिमांशु की छाती से उसकी पीठ चिपक गयी। हिमांशु ने उसको जकड लिया और गांड पे जोरदार प्रहार करने लगा। हिमांशु सोनम को खड़ा कर पीछे से उसकी गांड बजा रहा था और उसकी चुत मेरे सामने थी। मैंने भी आगे बढ़ के उसकी चुत को सहलाया और एक ऊँगली डाल के उसका रस चखा।

और फिर पूरा लंड चुत में उतार दिया। सोनम चीख पड़ी जब मेरा पूरा लंड उसकी चुत फाड़ता हुआ अंदर घुसा। अब हम दोनों उसको एकसाथ बजाने लगे। हम दोनों के लौड़े पे टंगी सोनम भाभी धकमपेल ठुक रही रही।

सोनम हम दोनों के बीच फंसी थी और दो लंड उसकी गांड और चुत की बोरिंग कर रहे थे। सोनम का बुराहाल था। कभी मुझपे कभी अपने पति पे वो झूल रही थी। हिमांशु सच में उसे रंडी समझ उसकी गांड मार रहा था। और उसको गंदी गंदी गालिया दे रहा था। बोल रहा था, “रंडी अभी तो शुरुआत है तेरी चुत को बाजार बना दुगा अब रांड।”

अब हमने पोजीशन बदली और अब मैं गांड मारने लगा और हिमांशु उसकी चुत। सोनम भाभी की चीखे पुरे हॉल में गूंज रही थी। हम दोनों ने सोनम को १ घंटे एक साथ चोदा और उसकी गांड और चुत अपने वीर्य से भर दी। सोनम जमीन पे पड़ी हाफ रही थी और उसकी गांड और चुत से वीर्य बह रहा था।

हिमांशु सोनम को देख के बोला, “मजा आया डार्लिंग या अभी और लंड चाहिए। बुलाऊ अपने दोस्तों को सब भूखे है। तेरी चुत को सब बजाना चाहते है। मेरी हरी झंडी पे जबरी चोदेंगे तुझे रांड और तू जानती है वो मादरचोद हैं सारे।”

सोनम ने कुछ नहीं बोला। हम दोनों सोफे पे बैठ हाफने लगे। सोनम ने खुद को साफ़ किया और हमारे बीच आके बैठ गयी और हम दोनों के लौड़े से खेलने लगी। और हम हिमांशु उसकी चूँचियो को दबा दबा पीने लगे।

अब सोनम भी बेशर्म हो बाते करने लगी बोली, “सुमेश मादरचोद चूत की गहराई तक असर किया है तेरे लौड़े ने।” ये बोल के सोनम मेरे ऊपर आके मेरे लौड़े पे बैठ गयी और लौड़ा पूरी उसकी चूत में सीधा घुस गया। सोनम मेरे लौड़े पे कूदने लगी।

मैं उसके ओंठो को कस के चूसने लगा उसकी पीठ पे दोनों हाथ फिराने लगा। अब मैंने उसकी कमर पकड़ ली और नीचे से कमर हिला के उसकी चूत में लंड को पेलने लगा। और वो ऊपर से मेरे लंड में चूत घुसाने लगी। दोनों के धक्के जब मिलते थी आनंद अपने चरम से होता था।

सोनम की आँखों में मजा साफ़ झलक रहा था। वो आह आह करके चुद रही थी और मैं मजे में सी सी कर रहा था।

चिल्ला रही थी, “तेरा लंड कमाल है मेरे राजा। जैसा सोचा था उससे ज्यादा मजा दे रहा है तू। आजसे मैं तेरी रखैल हूँ। जब जी में आये बुला लेना आ जाउंगी तेरे लंड के नीचे। चोदो और चोदो आज फाड़ दो मेरी चुत बहुत दिनसे अच्छे से नहीं चुदी हूँ। मेरा पति मादरचोद बस अपनी ठरक मिटाता है मादरचोद।”

भाई ने देखी अपनी बहन की हवस की भूख – Hindi Sex Story

हमारी चुदाई देख हिमांशु गरम हो गया और आके सोनम की पीठ सहलाने लगा। सोनम ने उसको धक्का देके पीछे कर दिया और बोली, “जा कही और जाके अपनी प्यास बुझा आज मैं सिर्फ सुमेश से चुदुँगी जी भर।” हम दोनों एकदूसरे से चुदाई की लड़ाई लड़ने लगे।

हिमांशु बैठ के अपनी बीवी को रंडी की तरह चुदते देखने लगा। मैंने सोनम भाभी को रांड बना रखा था अलग अलग तरह से उनको बजा रहा था।

अब मैंने कनिष्का को फ़ोन लगाया और बोला, “कनिष्का, तुझसे कोई बात करेगा,” और फ़ोन हिमांशु को देके बोला “कनिष्का से बात कर। जो मन में है बता। क्या सोचता है कनिष्का के बारे में। कनिष्का खुले दिमाग की चुदकड़ है मना ले और चोद ले।”

हिमांशु ने हेलो बोला। कनिष्का ने बोला, “कौन?” हिमांशु ने बोला, “आपका आशिक़ कनिष्का जी आपको देख के मेरा लौड़ा बावला हो जाता है।” कनिष्का बोली, “गांडू रोड पे सब मेरी लेना चाहते है तो सबको देती चलू?”

मैं और सोनम जोर से हसे और हिमांशु गुस्से में आ गया। बोला, “मादरचोद हप्ते में एक दिन बीवी ठोकता हु पुरे हफ्ते चूत शांत रहती है उसकी, रांड। बाकी ६ दिन अलग अलग चूत बजाता हूँ। एकबार तू चुदने को हाँ तो बोल। मादरचोद तेरी गांड मार के मार के फाड़ दूंगा।”

दूसरी तरफ मै सोनम को पटक पटक के वाइल्ड सेक्स कर रहा था। और सोनम चिल्ला चिल्ला के चुद रही थी और उसकी आवाज कनिष्का सुन रही थी।

बोली, “तेरी बीवी को जो तबले की तरह बजा बजा के गांड फाड़ रहा ना गांडू वो मेरी गांड फाड़ देता है। आजतक उसके जैसा चुदकड़ मिला नहीं है। अपनी बीवी संभाल नहीं सुमेश रंडी बना रख लेगा उसे। मादरचोद आदमी है एक बार चोद के चुत पे कब्ज़ा कर लेता है।”

हिमांशु बोला, “तुझे बहुत घमंड है रांड तो मेरी पार्टी है २ दिन बाद मिल। वहाँ तेरी चूत की आग पे कइयों ने पानी डाल के ना महीनो के लिए शांत कर दी तो मैं लड़किया चोदना छोड़ दुगा।”

कनिष्का बोली, “भोसड़ी के अपनी बीवी को ले जाके बना रंडी,” और फोन रख दिया। हिमांशु का मुँह उतर गया। उसकी शक्ल देख मैंने कनिष्का को फ़ोन किया और बोला, “आ जाओ मेरे फ्लैट पे डार्लिंग। तुम्हारी बात सुन के तुम्हारे चूत की याद आ गयी।“

वो हसी और बोली, “अच्छा। चलो आती हूँ १ घंटे में।”

४० मिनट बाद कनिष्का का फ़ोन आया “कहा हो?” मैंने उसको हिमांशु के घर आने को बोला जो बिलकुल मेरे फ्लैट के सामने था। घंटी बजी कनिष्का अंदर आ गयी। मैं सोनम को धकमपेल बजा रहा था। १० मिनट कनिष्का ने मेरी चुदाई देखि और गरम होने लगी।

बोली, “भाभी जी लंड तकलीफ तो नहीं दे रहा ना?”

सोनम बोली “कैसे झेल लेती है इस सांड को? साले का लंड वक़्त के साथ और खूंखार ही होता जा रहा है।” कनिष्का बोली, “मैं तो महीने में ३-४ बार ही झेलती हूँ। इसकी गर्लफ्रेंड से ये सवाल पूछना वो झेलती है हर रोज इसका लौड़ा।”

हिमांशु भी मादरचोद था। उसने देख लिया कनिष्का गरम है तो उसके पास जाके बैठ गया। और घुटनो तक नंगी कनिष्का की गोरी टांगो को चूमने लगा। उसके पैरो के अंगूठे को मुँह में लेके चूसने लगा उसकी दोनों टांगो को जीभ से चाटने लगा।

उसकी हवस देख के पता लग रहा था वो कितना भूखा है कनिष्का के जिस्म का। इधर मैंने सोनम को फिरसे झाड़ दिया और वो थक के बगल में हाफ रही थी। मेरा लौड़ा अभी भी तना हुआ था। मैंने लौड़ा ले जाके कनिष्का के मुँह के आगे कर दिया और कनिष्का उसको प्यार से चूसने लगी।

कनिष्का मजे से मेरा लौड़ा चूस रही थी और इधर हिमांशु ने कनिष्का के शॉर्ट्स और पैंटी को निकाल दिया। कनिष्का की गोरी चिकनी चूत में मुँह घुसा घुसा के उसको चाटने लगा। चूत को अपने मुँह में घुसाने लगा। चूत की खुशबू सुघने लगा।

कनिष्का उसकी इस हरकत से मजे में पागल हो चुकी थी और अपनी दोनों जांघो से उसने हिमांशु के सर को जकड लिया था। कनिष्का ने चूस चूस के मुझे झाड़ दिया और चाट चाट के मेरा पूरा लौड़ा साफ़ कर दिया और मेरा पूरा माल पी गयी। मैं अब बैठ के हिमांशु की हवस कनिष्का के लिए देखने लगा।

हिमांशु ने कनिष्का को पूरा नंगा कर दिया और उसके बदन के हर भाग को चूसने लगा। अपने हाथो से वो उसके शरीर के हर भाग को नापने लगा। उसने अब कनिष्का को अपने गोद में बिठा लिया और उसके बड़े बड़े स्तनो को काट काट के खाने लगा।

उसके एक हाथ कनिष्का की चुत की गहराई लगातार नाप रहा था। उसकी बेरहमी कनिष्का के बूब्स पे छपी थी। उसके दोनों स्तनो में हिमांशु के दांतो के निशाँ थे और चूँचिया लाल थी। हिमांशु ने मसल मसल के कनिष्का के खरबूजों को लाल कर दिया था। कनिष्का मस्त होके सिसकारियां ले रही थी।

हिमांशु बोला, “साली आज तुझे पूरा चबा जाउगा। तेरी याद में सोनम की कितनी लेनी देनी की है मैंने। जब भी तुझे देख लेता था उस दिन सोनम के गांड की माँ चोद देता था। मेरी जान आज तेरी गांड मारुंगा जी भर के। तेरी गांड का दीवाना हूँ मैं कनिष्का।”

अब कनिष्का ने हिमांशु के धक्का दे लिटा दिया और अपनी चुत लेके उसके मुँह पे बैठ गयी और उसके मुँह पे चुत और गांड रगड़ने लगी। कनिष्का बोली, “सूंघ मादरचोद चुत,” और झुक के उसका पूरा लंड मुँह में लेके चूसने लगी।

हिमांशु पागल हो गया उसके इस अंदाज से। वो गांड और चुत को फैला फैला चाटने लगा और कनिष्का उसका लंड चूसने लगी। और कनिष्का ने १० मिनट में उसे झाड़ दिया और झड़े लंड को चूस चूस के १० मिनट में फिर तैयार कर दिया।

कनिष्का ने हिमांशु को लिटा के खुद लंड चुत पे सेट किया और कमर हिला के उसे चोदने लगी। और गांड को हिला हिला के लौड़े में गाड़ने लगी। हिमांशु के लिए ये अलग अनुभव था वो मस्ती में पागल होके कनिष्का के आगे सरेंडर कर चूका था।

३० मिनट कनिष्का हिमांशु को dominate करके चोदती रही और हिमांशु को फिर झाड़ दिया। हिमांशु पड़ा पड़ा हाफ रहा था और कनिष्का मुस्कुरा रही थी। कनिष्का का अंदाज देख के मेरा भुजदंड मेरा लंड फिर तैयार हो चूका था। और मैं सोनम को घोड़ी बना के उसकी गांड पे ताबड़तोड़ हमले कर रहा था।

कमरे फच फच की आवाज से गूंज रहा था। अब कनिष्का ने आके हमें ज्वाइन किया और आके सोनम की चुत चाटने लगी। अब सोनम का आनद चरम पे था। अब मैंने सोनम को सीधा करके उसकी दोनों टांगो को मिला के अपने एक कंधे पे रखी। उसकी चुत बजाने लगा।

कनिष्का ने सोनम के मुँह में अपनी चुत दे दी और चुसवाने लगी। अब मैंने सोनम की चुत में रेलगाड़ी चला दी और १० मिनट में उसकी चुत में ५०० झटके मारे। सोनम की गांड फट गयी और वो इस बीच ही २ बार झड़ गयी।

सोनम के झड़ने के बाद मैं उसको प्यार से १० मिनट चूमता रहा। ये देख कनिष्का गुस्से में आ गयी और आके मेरे लंड को पकड़ लिया। मैं उसको मौका नहीं देना चाहता था dominate करने का। मैं उसकी गर्दन पकड़ के उसको घुमाया।

और दीवार में चिपका के उसकी गांड में लंड ठूंस दिया और बोला, “डार्लिंग मुझसे बकैती नहीं,” और उसके सर को दीवार में चिपका के उसको बिजली की गति से बजाने लगा। कनिष्का की गांड इतनी तेज गति से मार रहा था की कनिष्का पूरी दीवार में चिपक चुकी।

उसकी गांड पे चांटे बरसा बरसा के मैंने उसकी गांड लाल कर दी थी। अब मैंने उसको घुमाया और उसकी चुत में लंड घुसा के उसको चोदने लगा और उसके ओंठो को चूसने लगा। कनिष्का अब ठंडी पड़ चुकी थी। मैं उसे उठाया और बेड पे लाके पटक दिया।

अब हिमांशु भी गरम हो चुके था। उसने आके कनिष्का के मुँह में लंड ठूंस दिया और उसके मुँह में पूरा लंड उतार के उसके मुँह को बेरहमी से चोदने लगा। हिमांशु उसके मुँह को चोद रहा था और मैंने उसकी चुत को उतनी देर में झाड़ दिया।

जैसे ही मैंने उसकी चुत झाड़ी मैंने हिमांशु को इशारा किया और हिमांशु ने कनिष्का की गांड में लंड पेल दिया। अब हम दोनों उसकी गांड और चुत की भट्टी में लंड झोक रहे थे। उसकी चुत और गांड की पिटाई कर रहे थे। हिमांशु उसकी गांड को मस्तिया के बजा रहा था और मैं उसकी चुत का छेड़ फाड़ने में व्यक्त था।

लगभग १ घंटे की चुदाई के बाद कनिष्का पस्त हो चुकी थी। अब मैंने हिमांशु को कमान दी और इस बार हिमांशु ने कनिष्का को पटक पटक के चोदा शुरू किया। उसने कनिष्का को बेड पे हर तरफ उछाल उछाल के चोदा और उसको अनगिनत गालिया दी और ३० मिनट बाद झड़ गया।

इधर मैंने सोनम की चुत दुबारा खोद दी थी और सोनम छोडने की भीख मांग रही थी। फाइनली मेरे लंड ने आराम लिया और उसकी चुत में पूरा माल निकाल दिया।

चुदाई की वो रात भाभी और कनिष्का के लिए बेरहम रात थी। उस दिन हम दोनों ने उन दोनों को रंडी की तरह चोदा। हिमांशु ने कनिष्का की गांड खूब मारी उस दिन और सारी हवस उसकी गांड पे निकली।

उसकी चुत पे दारु गिरा गिरा उसको चूस चूस के पिया। मजेदार चुदाई की रात थी वो। उस दिन के बाद सोनम भाभी को पेल पेल के मैंने पूरा खोल दिया था।

Scroll to Top